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वो शायद भगवान भी नहीं कर सकते, मां वो जो मन पढ़ ले…..By-Santosh Kumar Pant
Santosh Kumar Pant ============= · मां और शहर ———-:————– ईजा (मां).. ईजा (मां)….मि ऐ गईं (मैं आ गया हूं)..यह कहते हुए मैं अभी अभी ‘शहर’ से लौटा था, और मां से पूरे 1 साल के बाद मिला था,मां से लिपटा…लगा जैसे समंदर ने हज़ार नदियों को अपने अंदर समेट लिया हो।हजारों बरस तक अलग न […]
कहानी – दाज्यू…….लेखक-✍ शेखर जोशी
चित्र गुप्त =============== · कहानी – दाज्यू ✍ शेखर जोशी **************** चैक से निकलकर बाईं ओर जो बड़े साइनबोर्ड वाला छोटा कैफे है वहीं जगदीश बाबू ने उसे पहली बार देखा था। गोरा-चिट्टा रंग, नीला श़फ्फ़ाफ़ आँखें, सुनहरे बाल और चाल में एक अनोखी मस्ती-पर शिथिलता नहीं। कमल के पत्ते पर फिसलती हुई पानी की […]
पिछले कुछ दिनों से बहू के साथ एक विचित्र बात होती
Arvind Verma ============= घर की नई नवेली इकलौती बहू एक प्राइवेट बैंक में बड़े ओहदे पर थी । उसकी सास तकरीबन एक साल पहले ही गुज़र चुकी थी । घर में बुज़ुर्ग ससुर औऱ उसके पति के अलावे कोई न था । पति का अपना कारोबार था । पिछले कुछ दिनों से बहू के साथ […]