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असदुद्दीन ओवैसी ने शाही ईदगाह को लेकर मथुरा की कोर्ट के हालिया आदेश पर सवाल उठाया, आदेश को देंगे चुनौती!

एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने श्रीकृष्ण जन्मभूमि-शाही ईदगाह को लेकर मथुरा की कोर्ट के हालिया आदेश पर सवाल उठाया है.

ओवैसी ने दावा किया है कि सिविल कोर्ट ने ‘1991 के एक्ट का उल्लंघन किया है.’

उन्होंने कहा, कोर्ट ने सर्वे को फर्स्ट रिज़ॉर्ट (पहले उपाय) के तौर पर आजमाया है जबकि क़ानून के जानकार मानते हैं कि सिविल मामलों में सर्वे लास्ट रिज़ार्ट (आखिरी उपाय) होना चाहिए.

मथुरा की एक कोर्ट ने आठ दिसंबर को एक हिंदू संगठन की तरफ़ से दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए संपत्ति की अमीन रिपोर्ट मांगी है.

हिंदू पक्ष दावा कर रहा है कि ये एक तरह से ‘मस्जिद परिसर के सर्वे का आदेश है.’

जबकि इस विवाद से जुड़े मुस्लिम पक्ष का दावा है कि ये ‘एकतरफा आदेश है’ जो उनका पक्ष सुने बिना ही पारित किया गया है.

ANI
@ANI
In my opinion, the order is wrong. The civil court has violated the 1991 Act. They have used the survey as a first resort, which legal experts believe should be the last resort. I disagree with the order: AIMIM chief Asaduddin Owaisi on Mathura court’s order to survey Shahi Idgah

‘आदेश को देंगे चुनौती’

ओवैसी ने कहा, “मेरी राय में ये ऑर्डर सही नहीं है. मुझे भरोसा है कि शाही ईदगाह ट्रस्ट इसके ख़िलाफ़ अपील करेगा और ऊपरी अदालतें इस मामले का संज्ञान लेंगी.”

विवाद से जुड़े मुस्लिम पक्ष का कहना है कि वो इस आदेश को दो जनवरी को चुनौती देंगे.