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फ़िलिस्तीन के मुद्दे पर सुरक्षा परिषद में बुरी तरह घिरा इस्राईल, वीडियो

फ़िलिस्तीनी इलाक़ों में बढ़ती हिंसा और इस्राईली सैनिकों के हाथों फ़िलिसतीनियों की हत्या में लगातार हो रही वृद्धि के दृष्टिगत संयुक्त राष्ट्र संघ की सुरक्षा परिषद की बैठक हुई।

दो सत्रों में छह घंटे की बैठक में बहस तो बहुत हुई लेकिन ग़ैर क़ानूनी शासन के समर्थकों ने बैठक को किसी नतीजे पर नहीं पहुंचने दिया। टोर वेन्सलैंड जो मध्यपूर्व में संयुक्त राष्ट्र संघ के शांति हैं ज़ायोनी शासन से मांग की कि फ़िलिस्तीनियों को उनके घरबार से निकालने और उन्हें विस्थापित करने का सिलसिला बंद करे। उन्होंने कहा कि कई दशकों से जारी ज़ायोनी शासन के क़ब्ज़े के खिलाफ़ फ़िलिस्तीनियों की निराशा और आक्रोश बिल्कुल साफ़ नज़र आता है। अलबत्ता वेन्सलैंड ने इस्राईल के अपराधों की निंदा नहीं की मगर इतना कहा कि ज़ायोनी फ़िलिस्तीनियों के घर ध्वस्त कर दे हैं और कहते हैं कि इसके निर्माण का पर्मीशन नहीं लिया गया था। जबकि किसी भी फ़िलिस्तीनी के लिए इस्राईल से इस तरह का परमीशन लेना असंभव है।

इस बैठक में ईरान के राजदूत ने कहा कि रिपोर्टों से पता चलता है कि 2022 में बड़ी संख्या में फ़िलिस्तीनी शहीद हुए हैं और इस पहलू से 2006 के बाद यह सबसे बुरा साल रहा है।….फ़िलिस्तीनियों की हत्या, उन्हें उनके घरों से निकालना और फ़िलिस्तीनियों के ख़िलाफ़ अनेक तरह की आपराधिक कार्यवाहियां करना यह इस्राईल की करतूते हैं। यह हरकतें सारे अंतर्राष्ट्रीय क़ानूनों का उल्लंघन हैं। फ़िलिस्तीनियों को सुरक्षा परिषद के समर्थन की ज़रूरत है। ईरान के राजदूत ने कहा कि फ़िलिस्तीनियों को पूरा अधिकार है कि इस्राईलियों के हमलों के जवाब में आत्म रक्षा की कार्यवाही करें।….आयरलैंड की राजदूत ने भी क़ब्ज़े वाले फ़िलिस्तीनी इलाक़ों के हालत को बेहद चिंताजनक बताया। हमको इस बात की गहरी चिंता है कि इस्राईल बहुत ज़्यादा ताक़त का इस्तेमाल कर रहा है। उन्होंने कहा कि हम यह भी चाहते हैं कि पत्रकार शीरीन अबू आक़ेला के क़त्ल की विधिवत जांच कराई जाए।……संयुक्त राष्ट्र संघ के मानवाधिकार हाई कमीशन की रिपोर्ट के अनुसार इस साल इस्राईल ने वेस्ट बैंक में ही 118 फ़िलिस्तीनियों को शहीद कर दिया जिनमें 26 बच्चे और 5 महिलाएं शामिल हैं।

न्यूयार्क से आईआरआईबी के लिए अली रजबी की रिपोर्ट