उत्तर प्रदेश राज्य

मेरठ, रात आठ बजे से लेकर सुबह पांच बजे तक ज़िले में हुई तीन हत्याएं, पुलिस के लिए चुनौती!

मेरठ में शनिवार रात आठ बजे से लेकर सुबह पांच बजे तक जिले में अलग-अलग स्थानों पर हुई तीन हत्याएं पुलिस के लिए चुनौती से कम नहीं है। जिस तरीके से पहले कंकरखेड़ा थाना क्षेत्र, फिर दौराला और तड़के पांच बजे टीपीनगर थाने के पास हत्याकांड को अंजाम दिया गया उससे पुलिस गश्त पर सवाल खड़े हो रहे हैं।

वहीं, एक तरफ पुलिस दावा करती है कि रात के समय गश्त की जाती है, लेकिन जिस तरीके से ये वारदातें हुईं वह पुलिस के दावों की पोल खोलने के लिए काफी है।

कंकरखेड़ा थाना पुलिस
शनिवार रात कैंट स्टेशन के पास हुई प्रियंका की हत्या कंकरखेड़ा थाना पुलिस की लापरवाही का नतीजा है। हैरानी की बात यह है कि हत्याकांड को सरेराह कस्बा पुलिस चौकी से करीब 200 मीटर दूर और थाने से मात्र 500 मीटर दूरी पर अंजाम दिया गया, लेकिन कुंभकर्ण की नींद सो रही कंकरखेड़ा पुलिस को भनक तक नहीं लगी। जबकि रात आठ-नौ बजे सड़क पर खूब चहल-पहल रहती है। पुलिस भी इस समय गश्त करने के खूब दावे करती है।

दौराला थाना पुलिस
दौराला में हुआ सावेज हत्याकांड भी कहीं न कहीं पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाता है। हाईवे किनारे सो रहे युवक की हत्या कर दी गई और हत्यारे फरार भी हो गए, लेकिन पुलिस का अता-पता तक नहीं। जबकि रात के समय हाईवे पर गश्त करने के आए दिन अधिकारियों की तरफ से निर्देश दिए जाते हैं।

टीपीनगर थाना पुलिस
टीपीनगर थाने के पास भी ई-रिक्शा चालक की ईंट से वार कर हत्या की गई। इस मामले में पुलिस की सक्रियता दिखाई दी। जैसे ही पुलिस को सूचना मिली कि दो युवकों में मारपीट हो रही है तभी पुलिस पहुंच गई। हालांकि तब तक ई-रिक्शा चालक की मौत हो गई थी। पुलिस की तत्परता के चलते आरोपी को मौके पर ही दबोच लिया गया।