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सीरिया में तुर्की की योजना हुई फ़ेल : सीरिया के 13 सैनिक मारे गये : अरब डायरी

 

 

13 सैनिक मारे गये

सीरिया में सेना को ले जा रही एक बस पर आतंकवादी हमला हुआ जिसमें 13 सैनिक मारे गये।

समाचार एजेन्सी फार्स की रिपोर्ट के अनुसार सीरिया के रक्का के पास सेना को ले जा रही बस पर आतंकवादी हमला हुआ जिसमें 13 सैनिक हताहत और दो अन्य घायल हो गये।

जारी महीने की दो जून को भी सीरिया के पूर्व में स्थित दैरूज़्जूर प्रांत में एक यात्री बस पर आतंकवादी हमला हुआ था जिसमें तीन आम नागरिक मारे गये जबकि 20 से अधिक घायल भी हो गये थे।

यह ऐसी स्थिति में है जब सीरिया की सरकारी एजेन्सी साना ने मार्च में रिपोर्ट दी थी कि अमेरिका के आतंकवादी सैनिकों के समर्थन के कारण सीरिया के पूर्वोत्तर में दाइश के आतंकवादी सक्रिय हैं और वे इन आतंकवादियों को प्रशिक्षण दे रहे हैं। इसी प्रकार सीरिया की सरकारी न्यूज़ एजेन्सी साना ने बताया है कि अमेरिकी सैनिक दाइश के आतंकवादियों को अब आरपीजी और कंधे पर रखकर फायर करने वाली मिसाइलों की भी ट्रेनिंग दे रहे हैं।

अमेरिकी सैनिकों का यह प्रशिक्षण दाइश के उन तत्वों से विशेष है जिसे अमेरिकी सैनिकों ने अलहस्के के दक्षिण में स्थित एक जेल में बंद कर रखा है और यह जेल अश्शेदादी शहर में अमेरिका की सैन्य छावनी के अंदर है।

स्थानीय सूत्रों ने भी बताया है कि अमेरिकी सैनिक दाइश के इन तत्वों को बक्तरबंद वाहन विरोधी मिसाइलों का भी प्रशिक्षण दे रहे हैं ताकि जल्द ही दैरूज़्ज़ूर और तदमुर में उन्हें स्थानांतरित कर सकें और उसके बाद वहां से सीरियाई सैनिकों के ठिकानों, सरकारी केन्द्रों और आम नागरिकों के घरों पर हमले आरंभ कर सकें।

इराक़ पर तुर्की का फिर हमला, प्रतिरोधकर्ता गुटों ने दे दी खुली वार्निंग

तुर्की के युद्धक विमानों ने इराक़ के नैनवा प्रांत के शहर सेन्जार पर फिर हमला किया है।

बग़दाद अलयौम की रिपोर्ट के अनुसार तुर्की के युद्धक विमानों ने इराक़ के नैनवा प्रांत के शहर सेन्जार की सड़कों पर बमबारी की।

अभी तक इस बमबारी से होने वाले संभावित जानी व माली नुक़सान के बारे में कुछ पता नहीं चल सका है।

ज्ञात रहे कि पिछले बुधवार को भी तुर्की ने उत्तरी इराक़ विशेषकर धहूक के क्षेत्र पर हवाई हमले के साथ ही जो इस क्षेत्र की जनता के पलायन का कारण बना है, इराक़ के अंदर भी सैन्य कार्यवाही की थी।

उत्तरी इराक़ में तुर्क सैनिकों के हवाई हमले पर इराक़ के प्रतिरोधकर्ता गुटों ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए तुर्की से कहा है कि वह अतिग्रहणकारी अमरीकी सैनिकों के अंजाम से पाठ सीखे।

इराक़ के स्वयं सेवी बल असाएब अहले हक़ आंदोलन के प्रमुख क़ैस अलख़ज़अली ने कहा कि सेन्जार में इराक़ी जनता के विरुद्ध तुर्की के खुले अतिक्रमण पर कोई भी इराक़ी नागरिक जिसमें अपने राष्ट्र के लिए तनिक भी ग़ैरत होगी, चुप नहीं रह सकता।

उन्होंने कहा कि जो लोग इराक़ पर तुर्की के हमले पर ख़ामोश हैं उनमें लगता है ग़ैरत मर चुकी है लेकिन जहां तक हम से संबंधित है तो हमारे पास बहुत संसाधन हैं और हम कभी भी ख़ामोश नहीं रहेंगे।

इराक़ के एक अन्य प्रतिरोधकर्ता गुट हिज़्बुल्लाह आंदोलन ने भी उत्तरी इराक़ के शहर सेन्जार के सेनोनी क्षेत्र में तुर्की के हवाई हमले की कड़े शब्दों में निंदा की है।

सीरियाई नागरिकों के सामने नहीं टिक सके अमरीकी सैनिक, फ़रार होना ही बेहतर समझा

सीरिया की जनता ने देश के पूर्वोत्तरी प्रांत अलहस्का में एक बार फिर आतंकवादी अमरीकी सैनिकों के कारवां को गुज़रने से रोक कर उसे वापस जाने पर मजबूर कर दिया।

सीरिया की सरकारी समाचार एजेन्सी साना की रिपोर्ट के अनुसार सीरिया के अलहस्का प्रांत के उपनगरीय क्षेत्र तल असवत और हामू की जनता ने अमरीका की बक्तरबंद गाड़ियों और सैन्य वाहनों के रास्ते में रुकावटें खड़ी करके उन्हें पीछे हटने पर मजबूर कर दिया।

सीरियाई जनता की इस साहसिक कार्यवाही के सामने अमरीकी सैनिक हताश हो गये और वह अपने समर्थित कुर्द मिलिशिया एसडीएफ़ के नियंत्रण वाले क्षेत्र की ओर लौट गये।

सीरिया के विदेशमंत्री फ़ैसल मेक़दाद ने इससे पहले अपने एक बयान में कहा था कि अमरीकी सैनिकों की सीरिया में तैनाती ग़ैर क़ानूनी है इसीलिए उन्हें तुरंत सीरिया की धरती से निकल जाना चाहिए।

ज्ञात रहे कि हस्का में सीरियाई जनता अब तक दसियों बार अमरीकी आतंकवादी सैनिकों को अपने क्षेत्र में घुसने से रोक चुकी है और उन्हें पीछे हटने पर मजबूर कर चुकी है।

अमरीका, सीरिया में अपने सैनिकों को तनात करके न केवल इस देश में आतंकवादियों का समर्थन कर रहा है बल्कि सीरिया के तेल और अनाज सहित इस देश की संपत्ति को भी लूट रहा है।

हिज़बुल्लाह की वजह से इस्राईल, लेबनान पर हमला करने में अक्षम हैः नईम क़ासिम

हिज़बुल्लाह के उप महासचिव कहते हैं कि इस प्रतिरोधक दल की ही वजह से इस्राईल, लेबनान पर हमला करने में अक्षम है।

शेख नईम क़ासिम ने हिज़बुल्लाह के गठन की 40वीं वर्षगांठ के अवसर पर कहा कि हिज़बुल्लाह की सटीक और पूरी तैयारी ने दुश्मन को निष्क्रय बना दिया।

उन्होंने हिज़बुल्लाह की राजनीतिक गतिविधियों की ओर संकेत करते हुए कहा कि सन 1992 से हिज़बुल्लाह की संसदीय गतिविधियां आरंभ हुई थीं। इस आन्दोलन ने विभिन्न क्षेत्रों में सेवाएं दीं। सन 2005 तक उसने किसी भी सरकार के साथ काम नहीं किया।

शेख नईम क़ासिम का कहना था कि लेबनान के विरुद्ध अमरीका के षडयंत्र रुक नहीं रहे हैं। उन्होंने कहा कि लेबनान के विरुद्ध अमरीकी षडयंत्र केवल अर्थव्यवस्था या सामाजिक मामलों तक सीमित नहीं हैं बल्कि वह सरकारी भ्रष्टाचार तक पहुंच चुका है। हिज़बुल्लाह के उप महासचिव के अनुसार इस सरकारी भ्रष्टाचार को देश में हर स्तर पर देखा जा सकता है।

उन्होंने कहा कि अपने गठन के 40 वर्षों के दौरान हिज़बुल्लाह हमेशा प्रगति की ओर बढ़ता रहा और उसने कई सफलताएं भी अर्जित कीं। याद रहे कि लेबनान के इस्लामी प्रतिरोध आन्दोलन हिज़बुल्लाह ने सन 1985 में अपने अस्तित्व की घोषणा की थी।

पिछले चार दशकों के दौरान उसने 2000 और 2006 में महान सफलताएं अर्जित करके स्वयं को लेबनानी राष्ट्र का सबसे बड़ा हितैषी सिद्ध किया। लेबनाननियों का यह मानना है कि हिज़बुल्लाह पूरे राष्ट्र के लिए बिना भेदभाव के काम करता है।

सीरिया में तुर्की की योजना हुई फ़ेल

तुर्क समर्थित आतंकी गुट जबहतुश्शामिया और अहरारुश्शाम में होने वाली रक्तरंजित झड़पों में अब तक 22 आतंकी मारे और घायल हो चुके हैं।

तुर्क समर्थित आतंकी गुट जबहतुश्शामिया और अहरारुश्शाम में होने वाली रक्तरंजित झड़पों में अब तक 22 आतंकी मारे और घायल हो चुके हैं।

नूर प्रेस की रिपोर्ट के अनुसार सीरिया के हलब प्रांत के क्षेत्र अलबाब में तुर्क समर्थित आतंकी गुट आपस में भिड़ गये और इनके बीच झड़पों में तेज़ी आ गयी है।

रिपोर्ट में बताया गया है कि इन झड़पों में अब तक 7 लोग मारे जा चुके हैं जबकि 4 बच्चों सहित 15 लोग घायल हो चुके हैं। बताया जाता है कि शामिया फ़्रंट और अहरारुश्शाम गुट के आतंकी एक दूसरे के विरुद्ध आधुनिक और भारी हथियारों का प्रयोग कर रहे हैं और आतंकी गुट शामिया फ़्रंट ने अपने आतंकियों के लिए भारी हथियारों की एक खेप रवाना की है।

सीरिया के उत्तरी क्षेत्रों के निवासी तुर्की और उसके समर्थित गुटों के हमलों और ख़तरों से तंग आ चुके हैं और उन्होंने बारम्बार प्रदर्शन करके तुर्क सैनिकों की सीरिया से वापसी की मांग की है।