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#काठमांडू के मेयर ने दिल्ली के अपने कक्ष के सामने ‘ग्रेटर नेपाल’ का नक्शा रखा, जिसमें #भारत के बड़े हिस्से को #GreaterNepal के रूप में शामिल किया!

ANI_HindiNews
@AHindinews

#WATCH झारखंड: धनबाद में बीसीसीएल (भारत कोकिंग कोल लिमिटेड) की खुली खदान का एक हिस्सा ढह गया। एक शव बरामद कर लिया गया है। अधिक जानकारी की प्रतीक्षा है।

ANI_HindiNews
@AHindinews

देख कर लग रहा कि लोग यहां अवैध तरह से उत्खनन कर रहे थे। हम जांच कर रहे कि कितने लोग दबे हैं और कितने लोगों की मृत्यु हुई है। अभी हमारे लिए कुछ कहना मुमकिन नहीं है: बिनोद उरांव सब-इंस्पेक्टर, जोरापोखर थाना

Ruby Arun रूबी अरुण روبی ارون 🇮🇳
@arunruby08
#चीन को तो रहने ही दीजिए
#Nepal भी धमका रहा,हमारी जमीनों को अपना बता रहा.

#काठमांडू के मेयर ने दिल्ली के अपने
कक्ष में ‘ग्रेटर नेपाल’ का नक्शा रखा है.
जिसमें #भारत के बड़े हिस्से को #GreaterNepal के रूप में शामिल किया है बल्कि पूर्वोत्तर भारत के बीच की भूमि को भी जोड़ रखा है.


Wasim Akram Tyagi
@WasimAkramTyagi
इसमें न तथाकथित “लव जिहाद” है! न तथाकथित धर्मांतरण है! न इसकी जांच एनआईए करेगा, न कोई धर्म रक्षक संगठन उपद्रव करेगा और मीडिया तो रांडरोवा बिल्कुल नहीं करेगा। हां यही मामला अगर इसके बरअक्स होता, लड़की हिंदू और लड़का मुस्लिम होता तब पुलिस इन्हें सुरक्षा नहीं देती बल्कि लड़के के परिजनों को जेल में डाल देती। सवाल फिर वही है क्या सारे नियम क़ानून सिर्फ मुसलमानों के ख़िलाफ दुरुपयोग करने के लिए।ही है?

Kashif Arsalaan
@KashifArsalaan
1. यूपी, रुबीना बेगम ने रूबी अवस्थी बनकर मंदिर में अपने प्रेमी शेष कुमार से शादी कर ली, किसनी ने हिंदू के खिलाफ कोई रेल्ली नहीं निकली, भड़काऊन भाषण नहीं दिए,

2. वीडियो उत्तराखंड की है जहाँ हिंदू लड़की अपने मुस्लिम प्रेमी के साथ चली गईं,

हिन्दुओं ने पुरे मुस्लिम समाज का जीना हराम कर दिया, दोकाने लूट ली, कहा यहाँ से चले वरना जो कुछ मुसलमानों के साथ होगा उसका वो खुद ज़िम्मेदार हैं।

Ravindra Kant Tyagi
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कथित तौर पर, गांवों में शुद्धा हवा है। शुद्ध अनाज, दूध और शाक सब्जियाँ है और मेहनत कश तनाव मुक्त जीवन है। गलाकाट स्पर्धा की कमी है।
तो फिर इस आंकड़े पर ध्यान दीजिये।
भारत के शहरों में एक सामान्य इंसान की औसत आयू 70 से 71 साल।
भारत के गांवों में आम इंसान की औसतन आयू 65 से 66 साल।
चलो ग्रामीण स्वच्छ स्वस्थ वातावरण में जीवन काल कम होने के कारणों पर विचार करते हैं।
(1) मुझे लगता है कि इसका पहला कारण होगा संपन्नता। शहर की बड़ी आबादी को बेहतर फल, सब्जियाँ, ड्राइफ़्रूट्स और पौष्टिक भोजन उपलब्ध है। गाँव के किसान का सब से बढ़िया आनाज, फल, सब्जियाँ और ड्राइफ्रूट शहर की मंडियों में पहुंचता है जिसे शहर का सम्पन्न आदमी इस्तेमाल करता है।
(2) बीमारियों के प्रति आवेयरनैस। पिछले तीस चालीस साल से शहर के लोगों में बीमारियों के प्रति जागरूकता पैदा हुई है। प्रातः भ्रमण, जिम, नियमित शारीरिक जांच, दवाई, लैब और डॉक्टर्स की उपलब्धता। शहरों में बड़ी मात्रा में लोग अपने स्वस्थ्य की नियमित जांच कराते हैं और उसी के अनुरूप दिनचर्या, भोजन एवं दवाएं इस्तेमाल करते हैं।
(3) शारीरिक श्रम का बेलेन्स। इंसान के शरीर का सीधा सा सिद्धान्त है। अधिक कैलेरी खर्च और कम कैलोरी की उपलब्धता। कमजोरी, बीमारी रोधक शक्तियों की कमी और कम उम्र। दूसरी ओर अधिक कैलोरी और कम खर्च। हार्ट प्रोब्लम्स, डिबिटीज़ और बीमारियाँ। कम पौष्टिक, अविविधतापूर्ण भोजन, श्रम की अपेक्षा मिनरल्स और प्रोटीन न मिलना और साफ सफाई के प्रति उपेक्षा ग्रामीण व्यक्ति की कम उम्र की जिम्मेदार हैं।
भारत का वास्तविक विकास उस दिन माना जाएगा जब ग्रामीण व्यक्ति स्वस्थ और लंबी उम्र जीने में सक्षम होगा।

डिस्क्लेमर : लेखकों के निजी विचार व् जानकारियां हैं, तीसरी जंग का कोई सरोकार नहीं है