नई दिल्ली: भारत मे बढ़ते भीड़तंत्र पर सरकार की कोई रोक टोक नही है,इसी कारण भारतीय लोकतंत्र पर हावी भीड़तंत्र ने अब तक दर्जनों से अधिक साँसों को छीन लिया है,ईद से पहले एक बार फिर बुरी खबर ने दुखी कर दिया है,प्राप्त समाचार अनुसार झारखंड के गोड्डा जनपद में ग्रामीणों की भीड़ ने दो मुस्लिम युवकों को पीट पीटकर मार डाला है।
मामला देवडांड थाने के बनकट्टी गांव में बुधवार सुबह हुई इस घटना में मारे गए चिरागुद्दीन अंसारी उर्फ़ चरका और मुर्तज़ा अंसारी पड़ोसी गांव बांझी तालझारी के रहने वाले थे।
इस घटना के बाद से इलाक़े में तनाव है. झारखंड पुलिस ने इसकी रिपोर्ट दर्ज करके चार लोगों को गिरफ़्तार किया है,गोड्डा के एसपी राजीव रंजन सिंह ने बताया कि ग्रामीणों ने मृतकों पर पशु चोर होने का आरोप लगाया है।
पुलिस का कहना है कि चोरी किए गए जानवरों की कथित बरामदगी भी ग्रामीणों ने ही की है. हालांकि, अभी इसकी जांच होगी कि मृतकों के ख़िलाफ़ पहले भी कोई मामला दर्ज था या नहीं।
Two men allegedly lynched by a mob on suspicion of them & 3 others stealing cattle in Godda. Superintendent of Police, Rajiv Ranjan Singh, says, 'locals rescued 13 buffaloes, captured 2 men & beat them up leading to their death. 4 arrested. Bodies sent for postmortem' #Jharkhand pic.twitter.com/ghqvicviqE
— ANI (@ANI) June 13, 2018
एसपी राजीव रंजन सिंह ने मीडिया से कहा, “देवडांड और सुंदरपहाड़ी थाना क्षेत्र की सीमा पर बसे ढुलू गांव के मुंशी सोरेन की भैंस चोरी हो गई थी. बुधवार सुबह बनकट्टी गांव में लोगों ने तीन युवकों को कुछ जानवरों के साथ जाते देखकर रोक लिया. वहां सैकड़ों लोगों की भीड़ जमा हो गई और ग्रामीणों ने इन युवकों की पिटाई शुरू कर दी. इनमें से एक युवक भाग निकला लेकिन बाकी बचे दोनों युवकों को भीड़ ने लाठी-डंडे से बुरी तरह पीटा. इस कारण दोनों की मौत घटना स्थल पर ही हो गई. हमने मुंशी सोरेन समेत चार लोगों को गिरफ़्तार कर लिया है।
इस घटना के बाद से इलाक़े में तनाव है. मृतक मुर्तजा अंसारी और चिरागुद्दीन अंसारी के परिजनों ने कहा है कि पशु चोरी का आरोप बेबुनियाद है और यह घटना सोची-समझी साजिश का नतीजा है।
मृतक मुर्तजा अंसारी के पिता हलीम अंसारी ने बीबीसी से कहा, “देखिए यह मामला पुरानी दुश्मनी का है. मेरे बेटे को धोखे से गांव मे बुलाकर उन लोगों ने उसकी हत्या कर दी. यह कैसा क़ानून है कि मेरे बेटे को दिन-दहाड़े मार दिया गया. वह पशु चोर नहीं था बल्कि पशुओं का व्यापार करता था. अब उसके तीन छोटे-छोटे बच्चों को हम लोग क्या बताएंगे. वो अपने अब्बा का रास्ता देख रहे हैं.”