बालासोर रेल हादसे के बाद छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में एक ही रेल ट्रैक पर दो ट्रेन आमने-सामने आ गई. अब इसका वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है. वीडियो सामने आने के बाद रेलवे को इस पर स्पष्टीकरण जारी करना पड़ा. रेलवे की तरफ से बताया गया कि आखिर एक ट्रैक पर दो ट्रेन क्यों और कैसे आ गई.
रेलवे के पीआरओ अंब्रिश साहू ने कहा, ‘एक ही लाइन पर एक से अधिक गाड़ियों का सुरक्षित परिचालन एक ही समय में सिग्नल के आधार पर किया जाता है.’ रेलवे के अलग-अलग खंडों के ऑटोमेटिक सिग्नलिंग ब्लॉक सेक्शन में गाड़ियों का परिचालन इसी नियम के अनुसार किया जाता है. वायरल वीडियो को लेकर पीआरओ ने कहा, ‘ यात्रियों के बीच गलतफहमी फैल गई कि दो ट्रेन एक ही पटरी पर आमने-सामने आ गई और उनके बीच टक्कर हो जाती जबकि ऐसा नहीं होता है.’ रेलवे सिग्नलिंग कैसे काम करता है रेलवे इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग (Railway Electronic Interlocking) एक ऐसे टेक्नोलॉजी है, जो रेलवे सिग्नलिंग को कंट्रोल करने के लिए इस्तेमाल की जाती है. यह एक सुरक्षा प्रणाली है जो ट्रेनों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सिग्नल और स्विच के बीच ऑपरेटिंग सिस्टम को कंट्रोल करती है. यह सिस्टम रेलवे लाइनों पर सुरक्षित और अवरुद्ध चल रही ट्रेनों के बीच सुरक्षा व्यवस्था सुनिश्चित करती है. इसकी मदद से रेल यार्ड के कामों को इस तरह से कंट्रोल किया जाता है जो नियंत्रित क्षेत्र के माध्यम से ट्रेन का सुरक्षित मार्ग सुनिश्चित करे. रेलवे सिग्नलिंग अन-इंटरलॉक्ड सिग्नलिंग सिस्टम, मैकेनिकल और इलेक्ट्रो-मैकेनिकल इंटरलॉकिंग से लेकर अब तक के मॉर्डन हाई टेक सिग्नलिंग तक एक लंबा सफर तय कर चुका है.